
(सीधी) मध्य प्रदेश के सीधी जिले के चुरहट अंतर्गत कई प्राइवेट स्कूल के डायरेक्टर छात्र-छात्राओं के अभिभावकों से संपर्क कर लालच देने मे लगेंगे हुए है यह सुविधा है वह सुविधा है पढ़ाई अच्छी होती है पता चला कि छात्रों को एडमिशन के बाद कुष्ठ चुराने में ऐसी स्कूल हैं जिसमें बच्चों की संख्या तो है पर शिक्षक ही नहीं रहते इसका कारण यह है स्कूल मलिक को पैसा देना पड़ता है कभी ना शिक्षक पढ़ाएंगे छात्रों को कई स्कूल के डायरेक्टर दो अभिभावकों के पास जाकर दावा करते हैं कि 10वीं 12वीं हम आपके बच्चों को अच्छा रिजल्ट दिलवा देंगे परंतु वह अपने स्कूल के छात्र-छात्राओं को परीक्षा दूसरी जगह है दिलवाले ले जाते हैं और वहीं से रिजल्ट बनता है जब बाद में मार्कशीट मिलती है दूसरी स्कूल के नाम से मार्कशीट छात्र-छात्राओं को या उनके अभिभावक को दी जाती है अच्छी खासी मोटी रकम लेकर स्कूल में जो जानकारी लेने के लिए तो साल भर की फीस इकट्ठा जमा करवा लेंगे और दावे के साथ अच्छा पैसा लेकर आपके छात्र-छात्राओं को पास करने की आश्वासन देते है अच्छी पढाई करने के लिए लेकिन उन छात्रों से अगर कोई परीक्षा ली जाए तो वह छात्र 0% से ही पास होंगे चुरहट में कई ऐसी स्कूल संचालित है और रामपुर नैकिन ब्लाक अंतर्गत संचालित सभी विद्यालयों का आकस्मिक निरीक्षण किया जाये तो शिक्षकों के द्वारा खेली जा रही आंख मिचोली के खेल का पर्दाफाश हो सकता है और छात्रों के भविष्य को अंधकार मय होने से जिला प्रशासन राज्य सरकार के निर्देशानुसार कार्य वाही करने का पहल करेंगे क्या? देखना यह होगा कि ऊंट किस करवट बैठता है छात्रों का भविष्य उज्जवल मय बनाने के लिए वरिष्ठ अधिकारी क्या कार्यवाही करते है क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है ?